Critical thinking ??
क्रिटिकल थिंकिंग याने गहन सोच | वास्तविक जीवन में बहुत बार हम कहते है या किसी को सलाह देते समय भी बोलते है ,” सोच – समझकर निर्णय लो | ” यह बोलना जितना आसान उतना ही उस पर अमल करना बेहद कठिन | हाँ , कठिन इसलिए कि कौनसे निर्णय के लिए गहन सोच की आवश्यकता है और कौनसे निर्णय के लिए इतना भी गहन सोचना जरुरी नहीं , यह सीखना अत्यावश्यक है | जब मैं Life class मैं इसके बारे में गहन जानकारी हासिल कर रही हूँ , तब मुझे महसूस हो रहा हैं मैंने कुछ निर्णय Critical याने गहन सोच कर लिए हैं पर कुछ आसान थे और मैंने उन्हें critial तरिके के से सोचा | इसमें संतुलन करना बहुत ही जरुरी है |